कोई जब तुम्हारा ह्रदय तोड़ दे
तड़पता हुआ जब कोई छोड़ दे तब तुम मेरे पास आना प्रिये मेरा दर खुला है, खुला ही रहेगा तुम्हारे लिए अभी तुम को मेरी जरुरत नहीं, बहुत चाहने वाले मिल जायेंगे अभी रूप का एक सागर हो तुम, कँवल जितने चाहोगी खिल जायेंगे दर्पण तुम्हें जब डराने लगे, जवानी भी दामन छुड़ाने लगे तब तुम मेरे पास आना प्रिये... कोई शर्त होती नहीं प्यार में, मगर प्यार शर्तों पे तुमने किया नजर में सितारे जो चमके ज़रा, बुझाने लगीं आरती का दीया जब अपनी नजर में ही गिरने लगो, अंधेरो में अपने ही घिरने लगो तब तुम मेरे पास आना प्रिये... |
विवरण :
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कोई जब तुम्हारा ह्रदय - Koi Jab Tumhara Hriday (Mukesh)
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